स्वदेशी जागरण मंच द्वारा “विदेशी कंपनियाँ – भारत छोड़ो” अभियान के अंतर्गत जन-जागरण कार्यक्रम का सफल आयोजन

रिपब्लिक भारत न्यूज़ 11-08-2025

स्वदेशी जागरण मंच, हिमाचल प्रदेश द्वारा आज दिनांक 11 अगस्त 2025 को दोपहर 3:30 बजे, डीसी ऑफिस परिसर, सीटीओ, शिमला में “विदेशी कंपनियाँ – भारत छोड़ो” अभियान के अंतर्गत एक जागरूकता कार्यक्रम एवं शांतिपूर्ण धरना प्रदर्शन का आयोजन किया गया। यह आयोजन भारत छोड़ो आंदोलन (9 अगस्त 1942) की स्मृति में आयोजित किया गया, जिसका उद्देश्य विदेशी आर्थिक दखल के विरुद्ध जनजागरण करना तथा आत्मनिर्भर भारत की दिशा में नागरिकों को प्रेरित करना था।

इस कार्यक्रम का उद्देश्य विदेशी कंपनियों द्वारा भारत की अर्थव्यवस्था, बाज़ार, और उपभोक्ता प्रवृत्तियों पर हो रहे प्रभाव के प्रति जनता को सचेत करना था।

कार्यक्रम के अंतर्गत प्रमुख गतिविधियाँ इस प्रकार रहीं:
विदेशी वस्तुओं का प्रतीकात्मक होली दहन, जो मानसिक उपनिवेशवाद के विरुद्ध एक सांकेतिक विद्रोह था।
शांतिपूर्ण धरना व जन-जागरण अभियान, जिसमें युवाओं, सामाजिक कार्यकर्ताओं, शिक्षकों एवं व्यापारियों ने बढ़-चढ़कर भाग लिया।
स्वदेशी उत्पादों को अपनाने हेतु जागरूकता नारे, पोस्टर, बैनर एवं संवाद के माध्यम से संदेश का प्रसार।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए स्वदेशी जागरण मंच के प्रांत प्रचार प्रमुख श्री ललित ठाकुर ने कहा:
आज वैश्विक शक्तियाँ भारत को केवल एक उपभोक्ता बाजार मान रही हैं। अमेरिकी नीतियाँ इसका प्रत्यक्ष उदाहरण हैं, जब ट्रंप प्रशासन ने भारत से आयातित उत्पादों पर भारी टैरिफ (शुल्क) लगाए, लेकिन बहुराष्ट्रीय अमेरिकी कंपनियाँ यहाँ से मुनाफा कमाकर वापस अपने देश ले जाती हैं। यह एकतरफा व्यापारिक रिश्ता भारत के हित में नहीं है।

उन्होंने आगे कहा कि यह आवश्यक है कि भारतवासी विदेशी कंपनियों की निर्भरता से मुक्त होकर, स्वदेशी उत्पादों को अपनाएं, ताकि स्थानीय उद्योगों को संरक्षण, रोजगार के नए अवसरों का सृजन, तथा आर्थिक आत्मनिर्भरता सुनिश्चित की जा सके।

स्वदेशी जागरण मंच ने यह स्पष्ट किया कि यह कार्यक्रम पूर्णतः गैर-राजनीतिक, शांतिपूर्ण तथा प्रशासनिक दिशा-निर्देशों के अनुरूप आयोजित किया गया, जिसमें किसी प्रकार की सार्वजनिक असुविधा नहीं होने दी गई।

कार्यक्रम के अंत में यह सामूहिक संकल्प लिया गया कि देश के कोने-कोने में स्वदेशी अभियान को जन-आंदोलन का रूप दिया जाएगा, जिससे भारत एक आर्थिक रूप से सशक्त, आत्मनिर्भर और स्वाभिमानी राष्ट्र बन सके।

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